1450 पंजीकृत पशुपालकों को स्वच्छ दुग्ध उत्पादन किट तथा 12 उत्कृष्ठ दुग्ध उत्पादकों को प्रोत्साहन चैक वितरित किये


 


सूचना/पौड़ी/दिनांक 20 फरवरी, 2020
प्रदेश के सहकारिता, प्रोटोकाॅल तथा उच्च शिक्षा राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डा. धन सिंह रावत ने आज जनपद पौड़ी के श्रीनगर तहसील क्षेत्रान्तर्गत दुग्ध विकास विभाग के तत्वाधान में आंचल डेरी विकास परिसर श्रीनगर/गढ़वाल दुग्ध उत्पादक सहकारी संघ श्रीनगर में आयोजित स्वच्छ दुग्ध उत्पादन किट एवं दुग्ध उत्पादक प्रोत्साहन चैक वितरण कार्यक्रम में प्रतिभाग कर 1450 पंजीकृत पशुपालकों को स्वच्छ दुग्ध उत्पादन किट तथा 12 उत्कृष्ठ दुग्ध उत्पादकों को प्रोत्साहन चैक वितरित किये। उन्होंने महिलाओं की आय को दोगुना करने की योजनाओं पर विस्तार से रोशनी डाली। उन्होंने महिला डेरी द्वारा बद्री गाय के दूध को वर्तमान मूल्य से 7 रूपये अधिक प्रतिकिलो की दर से खरीदने तथा नशा मुक्त गांव को एक लाख रूपये देने की घोषणा भी की। इससे पूर्व मा. मंत्री डाॅ. रावत ने श्रीनगर में एन.आर.एल.एम. के अन्तर्गत गठित स्वयं सहायता समूह द्वारा संचालित हिलांस आउटलेट एवं रेस्टोरेंट का विधिवत लोकार्पण किया गया तथा उपस्थित गणमान्यों के साथ बनाये व्यंजन का स्वाद चखा।
क्षेत्रीय विधायक एवं दुग्ध विकास मंत्री डाॅ. रावत ने कहा कि सरकार ने प्रदेश में पशुपालन और डेरी उत्पादन के क्षेत्र में कई ऐतिहासिक उपलब्धियां हासिल की हैं। उन्होंने बद्री गाय के द्वारा दुग्ध उत्पादन को और अधिक बढ़ावा देने पर जोर दिया। कहा कि बद्री गाय की नस्ल में सुधार कर गाय से केवल बछिया होने की अधिकतम सम्भावनाओं पर विशेषज्ञों ने कामयाबी हांसिल की है। इस गाय के दूध की बाजार में सर्वाधिक मांग है। यही नहीं इसके दूध से बने घी को सरकार एक हजार रूपये प्रति किग्रा तक खरीदेगी। दुग्ध विकास मंत्री डाॅ. रावत ने बद्री गाय के दूध को आंचल डेरी में बेचने पर दुग्ध व्यापारी से सात रूपये अधिक प्रति किलोग्राम की दर से खरीद करने की घोषणा की। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा रूद्रपुर में स्थापित पशु आहार संयंत्र के द्वारा महिला डेरी को प्रतिकुंतल 2 सौ रूपये कम दामों पर बेचेगी। जिसका बाजार में मूल्य करीब 1700 रूपये ए ग्रेड, 1600 रूपये बी ग्रेड तथा 1500 रूपये सी ग्रेड प्रति कुंतल बेचा जा रहा है। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा तीन माह तक का गर्भधारण करने वाली महिलाओं को सरकार द्वारा एक हजार रूपये प्रतिमाह, गर्भधारण करने के छह माह होने पर दो हजार रूपये दिये जाएंगे। इसके अलावा बच्चा पैदा होने पर पांच हजार तथा नवजात के 21 दिन पूरे होने पर भी दो हजार रूपये अतिरिक्त दिये जाएंगे। इस प्रकार सरकार द्वारा महिलाओं को कुल मिलाकर दस हजार रूपये पोषाहार हेतु दिये जाएंगे। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार ने वृद्धा पेंशन, विकलांग पेंशन तथा परित्यग्ता पेशन में दो-दो सौ रूपये इजाफा की सौगात दी।
 उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री अमृत आंचल योजना के तहत प्रदेश में आंगनवाड़ी से लेकर हाईस्कूल तक के करीब दस लाख बच्चों को एक-एक गिलास दूध दिया जाएगा तथा दूध नहीं पीने वाले बच्चों दो-दो अण्डे दिये जाएंगे। उन्होंने कहा कि महिला डेरी के द्वारा महिलाओं की आजीविका को बढ़ाने के लिए भारतीय सेना से करीब 8278 गायें खरीदी जा रही हैं। जो कि महिला व पुरूष डेरी हेतु एक-एक हजार रूपये में वितरित की जा रही हैं। कहा कि सरकार ने एनसीडीसी योजना के तहत डेरी उत्पादन करने वाली महिला डेरी को 32 प्रतिशत तथा पुरूष डेरी के लिए 25 प्रतिशत तक की सब्सिडी पर गायें उपलब्ध करायी जा रही हैं। इसके अलावा गौशाला निर्माण के लिए एक लाख रूपये तक की धनराशि अलग से दी जा रही है। हरे चारे की आसान उपलब्धता के लिए प्रदेश के हरिद्वार, हर्बटपुर, डोईवाला तथा ऊधमसिंह नगर में हरा चारा संयंत्र स्थापित किये हैं। जो कि तीस हैक्टेअर क्षेत्रफल में हरा चारा उत्पादित किया जा रहा है। यहंा से 10 व 15 किलो के पैकेट में तैयार किये जा रहे हैं। इस चारे को भी डेरी समूहों को आसानी से तथा कम दर पर दिया जा रहा है। हरे चारे में आने वाले व्यय को भी सरकार द्वारा ही वहन किया जायेगा। उन्होंने कहा कि कोई भी दुग्ध उत्पादक से दो लीटर से लेकर अधिकतम सीमा तक के दुग्ध मूल्य को प्रतिदिन, सप्ताह या 15 दिनों के हिसाब से पैसे ले सकता है। इसके अलावा उन्होंने सरकारी डेरी को दस लीटर से अधिक दूध देने पर भी चार रूपये प्रति लीटर अतिरिक्त दर से दूध खरीदने की बात कही। उन्होंने कहा कि महिला व पुरूष डेरी के लिए एक, तीन तथा पांच गाय लेने की योजना है। इस मौके पर उन्होंने ग्राम स्वराज प्रकल्प योजना पर भी रोशनी डाली। कहा कि शीघ्र ही पतंजली और एक अन्य संस्थान के साथ एमओयू बनाकर इस योजना को संचालित किया जाएगा। इसके तहत गौमूत्र अर्क, गोबर गैस प्लांट आदि से महिलाओं की आय दोगुनी करने के लक्ष्य पर कार्य किया जाएगा।  उन्होंने कहा कि डाक्टर, आईएएस, पीसीएस तथा पीएचडी आदि में रूचि रखने वाली स्नातक पास गरीब कन्याओं की उच्च व तकनीकी शिक्षा के लिए भी सरकार द्वारा बीस लाख रूपये दिये जाएंगे। इसके लिए उनके अभिभावकों को श्रम विभाग में पंजीकृत होना अनिवार्य है। महिला समूहों द्वारा गाय पालन, मुर्गी पालन, सलाई बुनाई, टमाटर की खेती आदि कृषि आधारित कार्यों के लिए महिला समूहों को पांच लाख का ऋण बिना ब्याज के दिया जा रहा है। साथ ही महिलाओं के द्वारा उत्पादित सामान को सरकार द्वारा खरीदा जाएगा। उन्होंने महिलाओं को स्वच्छ उत्पादन किट तथा दुग्ध उत्पादक प्रोत्साहन चैक वितरित किये।
 इस अवसर पर जिलाधिकारी धीराज सिंह गर्ब्याल, जिलाध्यक्ष भाजपा सम्पत सिंह रावत, प्रदेश सहकारिता संघ के अध्यक्ष हयात सिंह, सिंचाई उपाध्यक्ष अतर सिंह असवाल, गिरीश चंद पैन्यूली मंडल अध्यक्ष, निदेशक सेवायोजन एवं श्रम विभाग जीवन सिंह नग्नयाल, दुग्ध संघ के अध्यक्ष हरेंद्र पाल नेगी, उप जिलाधिकारी दीपेंद्र सिंह नेगी आदि उपस्थित रहे।